झंडेवालान मंदिर एक प्राचीन हिन्दू मंदिर है जो झंडेवाली माता को समर्पित है। यह मंदिर झंडेवालान रोड, करोल बाग, दिल्ली, भारत में स्थित है। इस मंदिर को श्री बद्री भगत झंडे वाला मंदिर के नाम से भी जाना जाता है। यह मंदिर बहुत प्रसिद्ध व देवी शाक्ति का प्रतिक है। इस मंदिर को नाम दिल्ली के प्रसिद्ध मंदिरों में आता है। मंदिर में पूरे साल भक्त माता के दर्शन हेतू बड़ी संख्या में आते है। इस मंदिर का नाम शाहजहां शासनकाल में रखा गया था जब शाहजहां ने प्रार्थना के रूप में देवी को झंडा अर्पित किया था।
ऐसा माना जाता है कि झंडेवालान मंदिर एक पहाड़ी पर स्थित था। इस जगह जब खुदाई की गई तो जमीन के अन्दर से माता कि मूर्ति पाई गई, बाद में यहां मंदिर बनाया गया। ऐसा माना जाता है कि बद्री भगत जो माता के परम भक्त थे उनको माता ने स्वप्न में दर्शन दिये और जमीन में मूर्ति के बारे में बताया। बद्री भगत ने इस स्थान पर खुदाई कराई तो भूमि में मूर्ति मिली परन्तु दुर्भाग्य से खोदते समय माता की मूर्ति के हाथ खंडित हो गये। हिन्दू शास्त्रों के अनुसार खंडित मूर्ति की पूजा वर्जित है। इसलिए मां की मूर्ति में चांदी के हाथ बनवाकर लगाये गये। मां की वह मूर्ति अभी भी मंदिर गुफा में सुरक्षित स्थापित है। इसके बाद यहां मंदिर का निर्माण किया गया था।
झंडेवाली माता कि मूल मूर्ति मंदिर के निचले स्तर पर स्थित है। यह मंदिर हिन्दूआें के लिए एक धार्मिक स्थल है। यह पर सभी जाति व धर्म के लोग पूजा अर्चना करते है। मंदिर में देवी के मंत्रों का जाम दिन-रात होता रहता है। मंदिर का वातारण भक्तों के लिए सुख, शांति व स्वास्थ्य के लिए अति उत्तम स्थान है।
मंदिर में कुआ भी है जिसका पानी मिठा व पवित्र है।
मंदिर में सभी प्रमुख त्योहार व सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन ‘बद्री भगत झंडेवालना मंदिर सोसायटी’ द्वारा किया जाता है। झंडेवालान मंदिर में सभी त्यौहार मनाये जाते है विशेष कर दुर्गा पूजा व नवरात्र के त्यौहार पर विशेष पूजा का आयोजन किया जाता है। इस दिन मंदिर को फूलो व लाईट से सजाया जाता है। मंदिर का आध्यात्मिक वातावरण श्रद्धालुओं के दिल और दिमाग को शांति प्रदान करता है।
संस्कृत के प्रचार-प्रसार के लिए वेद विद्यालय में संवादशाला चलती है। इस संवादशाला में देशभर से आए संस्कृत-साधकों को संस्कृत बोलने का प्रशिक्षण दिया जाता है। शिक्षार्थियों के निवास एवं भोजन आदि की सुविधा मंदिर के द्वारा की जाती है।
बद्री भगत झंडेवाला मंदिर द्वारा आयुर्वेद, एलोपैथिक, होम्योपैथिक एवं पाश्चात्य प्रणाली के निःशुल्क औषधालय स्थापित किये गये हैं।